नई दिल्लीः कांग्रेस ने आज उत्तर प्रदेश में रायबरेली और अमेठी संसदीय क्षेत्रों के लिए अपने उम्मीदवारों की घोषणा की। कांग्रेस की विज्ञप्ति के मुताबिक, राहुल गांधी इस बार रायबरेली से लोकसभा चुनाव लड़ेंगे। कांग्रेस ने किशोरी लाल शर्मा को अमेठी से अपना उम्मीदवार घोषित किया है।
अमेठी से मिली थी हार
गौरतलब है कि राहुल पहले भी अमेठी से ही चुनाव लड़ते रहे हैं। उन्होंने 2004 में पहली बार अमेठी से चुनाव जीता। इसके बाद वह लगातार तीन बार अमेठी से निर्वाचित होकर लोकसभा पहुंचे। 2019 में उन्हें अमेठी में बीजेपी उम्मीदवार स्मृति ईरानी से हार का सामना करना पड़ा। सौभाग्य की बात यह रही कि राहुल ने केरल के वायनाड से भी चुनाव लड़ा और यहां से जीत हासिल की।
सात चरण के आम चुनाव के पांचवें चरण में 20 मई को रायबरेली और अमेठी में मतदान होना है। लंबे समय तक, इन दोनों सीटों पर पारंपरिक रूप से नेहरू-गांधी परिवार के सदस्यों का कब्जा रहा है। इस बार भी बीजेपी ने केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी को अमेठी से मैदान में उतारा है। 2019 में सोनिया गांधी ने रायबरेली से जीत हासिल की थी। इस बार प्रियंका गांधी वाड्रा के अमेठी से चुनाव लड़ने की चर्चा है। लेकिन कांग्रेस ने यहां से शर्मा को टिकट देकर प्रियंका के चुनाव लड़ने की अटकलों पर विराम लगा दिया।
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क्यों अहम है रायबरेली सीट?
2019 के चुनाव में यूपी में कांग्रेस एकमात्र सीट जो जीत सकी, वह थी रायबरेली सीट। इसी सीट से सोनिया गांधी संसद पहुंची थीं। सोनिया गांधी इस बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ रही हैं। वह राजस्थान से राज्यसभा पहुंची हैं। दरअसल, सोनिया गांधी ने 2019 में ऐलान किया था कि यह उनका आखिरी लोकसभा चुनाव होगा। 1999 में कांग्रेस अध्यक्ष बनने के बाद उन्होंने पहली बार अमेठी से चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। इसके बाद 2004 में उन्होंने पहली बार रायबरेली से चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। सोनिया गांधी कुल पांच बार सांसद चुनी गईं।
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